रणबीर कपूर.... अपने खानदान में सबसे आगे से दूसरे स्थान पर पहुंच गए हैं, कपूर खानदान में ग्रेट शो मैन राज कपूर साहब के बाद रणबीर की ऐक्टिंग सबसे उम्दा है. हाँ मैं दावे के साथ कहता हूं.. एक्शन, रोमांस, ड्रामा, डांस... ट्रेजडी, में पारंगत हो चले हैं, क्योंकि मैंने गोल्डन एरा से लेकर अब तक सिनेमा को फॉलो कर रहा हूं.
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Ranvir kapoor file photo |
रणबीर कपूर अपने दादाजी ग्रेट शो मैन राज कपूर साहब की विरासत को लेकर चल पड़े हैं, हाँ एक बात ज़रूर है, रणबीर कपूर को ध्यान रखना होगा, ग्रेट शो मैन राज कपूर साहब से आगे जाने के रास्ते खत्म हो चुके हैं... उनसे आगे जाने का मतलब है खुद को खत्म कर देना... ग्रेट शो मैन राज कपूर साहब आज भी एक सिनेमा के संस्थान हैं.
'अमिताभ, शाहरुख, रणबीर' कपूर एनिमल से पहले ही तय हो चुका था. रणबीर कपूर शाहरुख की लेगेसी को आगे लेकर जाएंगे.. अब सारे के सारे उनके समकक्ष अभिनेता उनके पीछे खड़े दिखते हैं. एनिमल इस बात को और पुख्ता कर जाएगी.
रणबीर कपूर को सबसे पहले अजब प्रेम की गजब कहानी में देखा था, देखकर अच्छा लगा था, फिर रॉकस्टार, ये जवानी है दीवानी, बर्फी, संजू... जैसी फ़िल्मों के ज़रिए रणबीर के अभिनय में हर रंग देखा जा सकता है. एक फ्लॉप फिल्म तमाशा को मैं क्लासिकल फिल्म ही कहूँगा... फिल्म की जान, कहानी, अभिनय होता है.
मैं हमेशा कहता हूं, खानदान के कारण आपको प्लेटफार्म मिल सकता है, लेकिन आपको टिकना होता है, और अपने बूते टिकना होता है. जाहिर है रणबीर कपूर को पिता के कारण ही फ़िल्में मिलीं होंगी, लेकिन आज रणबीर कपूर जिस मुकाम पर हैं, उनकी मेहनत, समर्पण, प्रतिभा का ही प्रतिफल है.. अभिषेक बच्चन को भी मैंने यही कहा था कि समीक्षकों ने उनके प्रति बहुत क्रूरता बरती है, जो उचित नहीं है..
बॉबी देओल खुद कहते हैं कि मैं अवसाद में चला गया था, जाहिर है जब कोई व्यक्ति अपने पेशे में बीस साल खर्च कर दे, खूब प्यार, समर्थन मिले, कुछ असफ़लता के कारण फिर यह सुनना पड़े कि दर-असल आपका अपना कोई वजूद नही है, जो भी आप हैं, अपने पिता के कारण हैं, तो एनिमल का एक एक्सप्रेसन उनके निंदको के लिए तगड़ा जवाब है.
जो व्यक्ति इस कुंठित समाज के हिसाब से खुद को ढालेगा परेशान होगा... जवान, पठान फ़िल्मों को मैं आज भी वाहियात ही कहता हूं, लेकिन शाहरुख की सराहना करता हूँ, कि उन्होंने खुद को ज़िन्दा कर दिया.... शाहरुख ने कहा था....मेरी कुछ अच्छी फ़िल्मों को वाहियात कह दिया गया, देख लो जवान, पठान तुम लोगों के मुँह पर तमाचा है...
रणबीर कपूर को कई लोग अय्याश बोलकर खारिज करते थे, आज भी करते हैं, उससे कोई फर्क़ नहीं पड़ता, कुछ लोगों ने तय कर लिया होता है कि क्या सही है क्या गलत...रणबीर कपूर मानसिक रूप से संतुलित इंसान है, निगेटिव खबरों से विचलित नहीं होते, किसी ने पूछा था रणबीर आप अय्याश हैं' रणबीर कपूर ने कहा था' - 'हाँ मैं अय्याश हूं' ग़र कुछ लोगों को ऐसा मानकर खुशी होती है तो मैं हूँ '..... हाँ यह भी सच है आज किस को कौन अय्याश कह सकता है. समीक्षकों ने रणबीर कपूर के प्रति भी बहुत क्रूरता का परिचय दिया है, लेकिन उसने खुद को सम्भाला है. एनिमल के लिए मैंने पहले ही बोल दिया था, ब्लॉकबस्टर होगी.... क्योंकि अब दर्शकों का मूड समझ आता है.